शीघ्र ही बनेगा पकौड़ा मंत्रालय : (पकौड़ा मंत्री ऑफ इंडिया)
मोदी जी भारत
सरकार में जल्दी ही एक नया विभाग पकौड़ा मंत्रालय बनाने जा रहे हैं। जिसे लेकर मोदी
ने आज लोकसभा व राजसभा के दोनों सदनों में अपनी 4 साल की सफल योजनाओं को गिनवाते हुए
कहा कि हमारी सरकार ने पिछले 4 सालों में जो
भी योजनाओं को लागू किया है उससे देश को लाभ पहुंचा है। और हमारी सरकार द्वारा शीघ्र
ही बेरोजगार युवाओं को रोजगार प्रदान करने के लिए एक नया मंत्रालय गठित करने जा रही
है। मोदी ने आगे अपने भाषण में कहा कि इस मंत्रालय में कई तरह की रोजगार योजनाओं का
संचालन किया जाएगा। जिसमें एक योजना राष्ट्रीय पकौड़ा रोजगार योजना होगी, तो वहीं दूसरी प्रधानमंत्री चाय-पकौड़ा
उज्ज्वल भविष्य रोजगार योजना भी होगी।
मोदी के भाषण के
उपरांत बीजेपी (भारतीय जनता के पकौड़े) द्वारा पीएम की योजना की सराहना करते हुए कहा
कि पकौड़ा मंत्रालय बनने के बाद इसके अंतर्गत कई बेरोजगार युवाओं को रोजगार मिलने की
संभावनाएं जताई जा रही हैं। आगे यह भी कहा कि मंत्रालय को हरी झंडी मिलते ही पकौड़ा
मंत्रालय शीघ्र ही पढ़े-लिखे बेरोजगार युवाओं से आवेदन पत्र आमंत्रित कर सकती है। इसके
लिए पकौड़ा मंत्रालय ने शौक्षणिक योग्यता 10वीं पास से लकर पीएच.डी तक रखी है साथ
ही आवेदन शुल्क भरने के लिए पी.एम. (पकौड़ा मंत्री ऑफ इंडिया) अतिशीघ्र आवेदन भरने वाले के खाते
में 15 लाख की धनराशि हस्तांतरण करने वाले हैं।
वैसे पीएम द्वारा
पकौड़ा मंत्रालय की चर्चा देश में ही नहीं विदेशों में भी जोर-शोर से हो रही है। जिसको
ध्यान में रखते हुए प्रतिद्वंद्वी चीन वालों ने भारत के बाजार में सस्ते पकौड़े
लाने की योजना बनानी शुरू कर दी है। साथ ही पाकिस्तान के आंतकवादियों ने भी भारत में
जहर से भरे पकौड़ों को भेजने की कवायतें तेज कर दी हैं। वहीं देश में हल्दीराम
भुजियावाला भी शीघ्र ही अपना नाम बदल कर हल्दीराम पकौड़ेवाला करने वाला है और तो और
पकौड़े के बाजार में मुनाफे को देखते हुए रामदेव बाबा भी जल्द ही पतांजलि पकौड़ा बाजार
में लाने की फिराक में दिखाई दे रहे हैं। वैसे
लगता है कि आने वाले समय में एक घोटाला और होने की संभावना से इंकार नहीं किया जा सकता।
हां यह घोटाला पकौड़ा घोटाला हो सकता है। जिस पर 2019 के बाद सीबीआई से लेकर तमाम तरह
की जांच एजंसियों को लगना पड़ेगा... ताकि वास्तविक पकौड़ा मंत्रालय द्वारा किए गए
पकौड़ा घोटाले का पता लगाया जा सके। हालांकि जिस तरह की स्थिति देखी जा रही है उसके
यहीं कहावत सार्थक प्रतीत होती है कि ‘’अंधरे नगरी चौपट राजा...टके सेर पकौड़ा, टके सेर खाजा’’
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